बिहार के ग्रामीण इलाके की रहने वाली एक महिला की 12 साल की बच्ची के साथ ज्यादती हुई। डरी सहमी बच्ची ने मां को बताया कि उसके स्कूल टीचर ने उसके साथ गलत किया है। बच्ची शौच करने गन्ने के खेत में गई थी; जहां पहले से घात लगातार बैठे टीचर ने उसके साथ रेप किया। टीचर पीड़िता के ही गांव का रहने वाला था।
लोगों के ताने और समाज की चिंता किए बगैर उस मां ने अपनी बेटी को न्याय दिलाने का फैसला किया।पुलिस में मामला दर्ज कराया। जिसके बाद आरोपी टीचर गिरफ्तार भी हुआ। दो महीने बाद आरोपी जमानत पर बाहर आ गया।लेकिन इन्हीं दिनों पीड़िता की मां को उनके वकील ने बताया कि कोर्ट ने केस को बंद कर दिया है। क्योंकि आरोपी टीचर की मौत हो चुकी है।
मां को इस बात पर यकीन नहीं हुआ। क्योंकि गांव में किसी को भी टीचर की मौत की जानकारी नहीं थी और न ही उसका श्राद्ध-कर्म वगैरह किया गया। लेकिन आरोपी टीचर के पिता ने उसका डेथ सर्टिफिकेट बनवा लिया था। जिसके आधार पर कोर्ट ने केस बंद कर दिया